Net Metering Kya Hai:- अगर आप अपने छत पर सोलर रूफटॉप लगा रहे हैं . तो आपको नेट मीटरिंग (Net-Metering) के बारे में जानकारी होना आवश्यक है . क्योंकि इसके माध्यम से ही जो सोलर ऊर्जा उत्पन्न होगा उसे आप आसानी से मैनेज कर पाएंगे I इसलिए हम आपको इस आर्टिकल में नेट मीटिंग से संबंधित सभी चीजों के बारे में विस्तार पूर्वक जानकारी देंगे जैसे- नेट मीटरिंग प्रणाली क्या होती हैं? नेट मीटरिंग की आवश्यकता, नेट मीटरिंग की विशेषताएं, नेट मीटरिंग लगाने के लाभ अगर आप इसके बारे में कुछ भी नहीं जानते हैं तो हम आपसे निवेदन करेंगे कि हमारे साथ आर्टिकल पर आखिर तक बने रहे हैं आइए जानते हैं-
ऑन-ग्रिड सोलर सिस्टम क्या होता है?
ऑफ-ग्रिड सोलर सिस्टम क्या होता है?
Net Metering Kya Hai
आर्टिकल का प्रकार | सोलर ऊर्जा संबंधित |
आर्टिकल का नाम | नेट मीटरिंग क्या है |
साल | 2023 |
लगाने के फायदे | बिजली के बिल को कम कर सकते हैं |
कहां से खरीदें | ऑनलाइन ऑफलाइन दोनों जगह से |
कीमत कितनी होगी | ₹10000 से लेकर 15000 के बीच |
नेट मीटरिंग प्रणाली क्या होती हैं? Net Metering System kya Hota Hai
नेट मीटरिंग प्रणाली सोलर सिस्टम से संबंधित एक महत्वपूर्ण बना ली होती है I इसके माध्यम से जो भी ऊर्जा सोलर पैनल के माध्यम से उत्पन्न होता है I उसे मैनेज करने का काम करती है I साथ ही सोलर प्लांट से जो बिजली पैदा हुई है I उसका आपके घर के खपत होने के बाद कितनी बिजली ग्रिड में गई और जब सोलर पैनल बिजली नहीं पैदा कर रही विशेष तौर पर रात के समय क्योंकि सोलर पैनल सूरज की रोशनी से उर्जा उत्पन्न करता है I उस समय आपने ग्रिड से कितना बिजली खपत किया है उन सब का हिसाब नेट मीटरिंग के माध्यम से किया जाता है I
नेट मीटरिंग की आवश्यकता
पैनल को मैनेज करने के लिए नेट मीटरिंग (Net Metering) की आवश्यकता होती है, क्योंकि इसके माध्यम से आप आसानी से सोलर पैनल से उत्पन्न बिजली को मैनेज कर सकते हैं I इसके माध्यम से आप आसानी से जान सकते हैं कि सोलर पैनल के द्वारा कितनी मात्रा में बिजली उत्पादित किया गया है I इसके अलावा अगर आप सोलर पैनल से उत्पन्न बिजली को ग्रिड में एक्सपोर्ट (Export) किया है I उसकी पूरी कीमत उसे मिल जाएगी। इसलिए नेट मीटरिंग की जरूरत सोलर पैनल को सही तरीके से संचालित करने के लिए आवश्यक होती है I
नेट मीटरिंग की विशेषताएं | Net Metering Characteristics
- सोलर पैनल द्वारा पैदा होने वाली बिजली का मेजरमेंट करता है
- सोलर प्लांट से ग्रिड में जाने वाली और घर में खपत होने वाली बिजली का भी हिसाब-किताब रखता है।
- उपभोक्ता दिन के किसी भी समय अपनी ऊर्जा उत्पन्न कर सकते हैं
- रात में सौर ऊर्जा का उपयोग किया जा सकता है I
- एक महीने में उपयोग नहीं की गई ऊर्जा को अगले महीने उपयोग में लाया जा सकता है
- सौर ऊर्जा का उपयोग सर्दियों के महीनों के दौरान किया जा सकता है जब धूप बहुत कम होती है या नहीं होती है
नेट मीटरिंग लगाने के लाभ | Net Metering Benefits
- उपभोक्ता दिन के किसी भी समय अपनी ऊर्जा उत्पन्न कर सकते हैं
- रात में सौर ऊर्जा का उपयोग किया जा सकता है I
- एक महीने में उपयोग नहीं की गई ऊर्जा को अगले महीने उपयोग में लाया जा सकता हैI
- सौर ऊर्जा का उपयोग सर्दियों के महीनों के दौरान किया जा सकता है जब धूप बहुत कम होती है या नहीं होती हैI
FAQ’s Net Metering Kya Hai
Q. क्या नेट मीटरिंग केवल सोलर पर लागू होती है?
Ans. जरूरी नहीं सोलर के क्षेत्र में इसका इस्तेमाल होता है आज की तारीख मे पवन टर्बाइनों जैसी चीजों में भी का इस्तेमाल होता है
Q. नेट मीटरिंग से क्या तात्पर्य है?
Ans.नेट मीटरिंग एक ऐसा तंत्र है जो घरेलू या वाणिज्यिक उपयोगकर्ताओं को सौर पैनलों या फोटोवोल्टिक प्रणालियों का उपयोग करके अपनी बिजली उत्पन्न करने की अनुमति देता है ताकि वे अपनी अधिशेष ऊर्जा को वापस ग्रिड में निर्यात कर सकें
Q. नेट मीटरिंग के लिए के लिए कौन अप्लाई कर सकता है?
Ans. नेट मीटरिंग के लिए वही उपभोक्ता अप्लाई कर सकता है जिसके पास three phase का कनेक्शन है I
Q. भारत में नेट मीटरिंग के लगाने की लागत कितनी आएगी?
Ans. भारत में नेट मीटिंग लगाने की लागत ₹10000 से लेकर ₹15000 के बीच आएगी I
Q. नेट मीटरिंग की कैपेसिटी कितनी होती है?
Ans. नेट मीटरिंग की कैपेसिटी 1 kW और 1 MV होता है I
Q. नेट मीटरिंग में कौन सा मीटर इस्तेमाल होता है?
Ans. नेट मीटरिंग मे single, bi-directional meter का इस्तेमाल होता है जो दोनों दिशाओं में Flow होने वाले करंट को मापने में सक्षम होता है I
Q. नेट मीटरिंग लगाने के क्या फायदे हैं?
Ans. नेट मीटरिंग लगाने से आप बिजली के बिल को बहुत हद तक कम कर सकते हैं यही वजह है कि सोलर पैनल इस्तेमाल करने वाले लोग नेट मीटरिंग का इस्तेमाल जरूर करते हैं ताकि वह अपने सोलर पैनल द्वारा उत्पादित बिजली को बर्बाद होने से बचा सके I